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देश के सबसे महंगे घर में रहते हैं हरियाणा के नवीन जिंदल, खुद का है चॉपर, राजनेता के अलावा रह चुके हैं इंटरनैशनल खिलाड़ी



हम बात कर रहे हैं जिंदल पॉवर लिमिटेड के चेयरमैन नवीन जिंदल की। लाइफ स्टाइल ऑफ लीडर्स सीरिज में आज हम आपको नवीन जिंदल के बारे में पूरी जानकारी देंगे। उनके तिरंगा प्रेम की कथा बताएंगे तो शूटिंग और पोलो को लेकर उनके जुनून की भी बात करेंगे। 100 करोड़ से अधिक कीमत वाले उनके मकान के बारे में जानेंगे तो उनके सियासी सफर पर भी नजर डालेंगे

उनके पास 50 करोड़ रुपए कीमत की गाडिय़ां हैं। खुद का एक चॉपर है। हैलीकॉप्टर है। साल 2010 में 129 करोड़ का बंगला खरीदा। वे एक बाकमाल खिलाड़ी हैं। प्रोफेशनल पायलेट हैं। दो बार लोकसभा के सदस्य रह चुके हैं। उनका वार्षिक वेतन 144 करोड़ रुपए हैं।

नवीन जिंदल का जन्म 9 मार्च 1970 को हिसार में उद्योगपति ओपी जिंदल और सावित्री जिंदल के घर हुआ। दिल्ली पब्लिक स्कूल से आरंभिक शिक्षा ली। 1990 में दिल्ली के हंसराज कालेज से ग्रेजुएशन किया। बाद में अमेरिका की यूनिवर्सिटी ऑफ टैक्सास से एमबीए किया। 28 मई 1994 को नवीन जिंदल की शादी शालू जिंदल से हुई। शालू एक प्रोफेशनल कुच्छीपुड़ी डांसर हैं।

नवीन जिंदल के पास कुल 29,652 करोड़ रुपए की संपत्ति है। वे जिंदल स्टील लिमिटेड के चेयरमैन हैं और उनकी मासिक सैलरी 12 करोड़ रुपए है। यानी वे हर साल 144 करोड़ रुपए का वेतन लेते हैं। नवीन ङ्क्षजदल के बाद दुनिया की एक से एक महंगी गाड़ी है। उनके पास बेशुमार कारें हैं।

रोल्स रॉयस, जगुआर, ऑडी, मर्सडीज बीएमडब्ल्यू गाडिय़ां हैं। उनके पास करीब 50 करोड़ कीमत की कारें हैं। उनके पास खुद का एयरक्राफ्ट भी है। नवीन जिंदल का बंगला देश के चंद महंगे मकानों में शुमार है। साल 2010 में उन्होंने दिल्ली के लुटियंस जोन में 129 करोड़ रुपए का बंगला खरीदा। यह किसी महल से कम नहीं है।

वर्तमान में इसकी कीमत 400 करोड़ रुपस से अधिक है। ङ्क्षजदल के पास दिल्ली, मुम्बई के अलावा हिसार और कुरुक्षेत्र में भी घर हैं। देश के कई राज्यों में उनके स्टील कारखाने हैं। एक उद्योगपति से राजनीति में आने का उनका सफर दिलचस्प रहा। उनके पिता ओपी जिंदल पहले से राजनीति में थे। उनके पिता ही उन्हें राजनीति में लेकर आए जबकि नवीन के अन्य तीनों भाई राजनीति से दूर हैं।

नवीन जिंदल ने 2004 के संसदीय चुनाव में कुरुक्षेत्र लोकसभा सीट से 3 लाख 62 हजार वोट लेते हुए इनैलो के अभय चौटाला को करीब 1 लाख 60 हजार वोटों के अंतर से हराया। 2009 के चुनाव में उन्होंने 3 लाख 97 हजार वोट लेते हुए इनैलो के अशोक अरोड़ा को करीब 1 लाख 18 हजार वोटों से पराजित किया था। साल 2014 का चुनाव वे भाजपा के राजकुमार सैनी से चुनाव हार गए जबकि 2019 में उन्होंने चुनाव ही नहीं लड़ा।

सियासत से हटकर बात करें तो नवीन जिंदल एक प्रोफेशनल पायलेट हैं। बेशक मार्च 2005 में नवीन जिंदलके पिता ओपी जिंदल की एक विमान हादसे में मौत हो गई। पर नवीन ङ्क्षजदल अक्सर अपना चॉपर खुद चलाते हैं। नवीन जिंदल बाकमाल खिलाड़ी भी हैं। वे प्रोफेशनल शूटर हैं। 2004 में पाकिस्तान हुए दक्षिण एशिया गेम्स में उन्होंने सिल्वर मैडल जीता। वे शूटिंग में नैशनल रिकॉर्ड भी अपने नाम कर चुके हैं। शूटिंग में वे 4 इंटरनैशनल, 20 से अधिक नैशनल मैडल अपने नाम कर चुके हैं।

पोलो में 25 मैडल ले चुके हैं तो कॉर्पोरेट सैक्टर भी तीस अवार्ड उन्हें मिल चुके हैं। वे प्रोफेशनल पोलो हॉर्स राइडर भी हैं। उन्हें योगा करना भी अच्छा लगता है। अपने घरों, कारों और कपड़ों पर तिरंगा लगाने की जो आजादी आज हमारे पास है वो नवीन जिंदल की ही बदौलत है। तिरंगे का इस्तेमाल करने को लेकर उन्होंने फ्लैग फाऊंडेशन ऑफ इंडिया नाम से एक मुहिम शुरू की। उन्होंने साल 1995 में इस सिलसिले में कोर्ट में एक याचिका दायर की।

लम्बी कानूनी लड़ाई के बाद अदालत ने वाहन, घरों और कपड़ों पर तिरंगा लगाए जाने की इजाजत दी। नवीन खुद अपने हाथ में तिरंगे का ब्रेसलेट पहनते हैं और अपनी कमीज पर तिरंगा लेपल लगाते हैं। उन्होंने कुरुक्षेत्र में 121 मीटर ऊंचा तिरंगा लगवाया। वे एक कामयाब उद्योगपति भी हैं। वे कई बार बेस्ट चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर भी रह चुके हैं। नवीन जिंदल का समूह दान-पुण्य में भी बहुत आगे हैं।

कुरुक्षेत्र का सांसद रहते हुए उन्होंने 10 करोड़ 92 लाख रुपए की राशि सांसद विकास निधि से तो खर्च की। इसके साथ ही उन्होंने ओपी जिंदल जन कल्याण संस्थान के माध्यम से भी कुरुक्षेत्र लोकसभा में 45 करोड़ 55 लाख रुपए से विकास कार्य पूरे करवाए। नवीन जिंदल की दिनचर्या के बारे में बात करें तो वे सुबह जल्दी उठते हैं। योगा करने के अलावा वे अपने घर में ही बने पोलो ग्राऊंड में दौड़ लगाते हैं। जिम भी करते हैं। सुबह हलका नाश्ता करने के बाद ऑफिस जाते हैं। पहले सांसद थे तो कुरुक्षेत्र में भी काफी वक्त बिताते थे। अब पिछले कुछ समय से बिजनेस पर फोकस कर रहे हैं। वे नियमित रूप से शूटिंग और पोलो खेलते हैं।

Avinash Kumar Singh

A writer by passion | Journalist by profession Loves to explore new things and travel. I Book Lover, Passionate about my work, in love with my family, and dedicated to spreading light.

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