प्राइवेट से सरकारी स्कूलों में क्यों शिफ्ट हो रहे हैं विद्यार्थी, यह है बड़ी वजह

महामारी और लॉकडाउन के कारण हर किसी को वित्तीय समस्याओं का सामना करना पड़ा। जिसकी वजह से बच्चों की शिक्षा भी प्रभावित हुई है। आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण कई माता-पिता ने अपने बच्चों को निजी स्कूलों से सरकारी स्कूलों में शिफ्ट किया है। इसका मुख्य कारण निजी स्कूलों द्वारा ली जा रही फीस है।

बहुत से पेरेंट्स को लगता है कि चूंकि महामारी के दौरान कक्षाएं ऑनलाइन संचालित की जा रही हैं, इसलिए स्कूल की फीस इतनी अधिक नहीं होनी चाहिए।

निजी स्कूलों से सरकारी स्कूलों में क्यों जा रहे हैं छात्र?

लॉकडाउन 2020 में ज्यादातर स्कूल बंद होने की वजह से बच्चों की पढ़ाई पर काफी असर पड़ा है। संपूर्ण भारत के स्कूलों को ऑनलाइन शिक्षा में शिफ्ट करना पड़ा। माता-पिता को ऑनलाइन पढ़ाने के लिए स्कूल को ट्यूशन फीस देने के साथ-साथ एक लैपटॉप या स्मार्टफोन की व्यवस्था भी करनी पड़ी।

एक और कारण यह है कि महामारी ने लाखों लोगों की नौकरी छीनी है तथा आर्थिक कठिनाइयों का कारण बनी है। प्रवासी कामगारों को नौकरियों की कमी के कारण अपने मूल स्थानों पर लौटने के लिए मजबूर होना पड़ा। बड़ी–बड़ी कंपनियों में भी हजारों कर्मचारियों की नौकरियां चली गई।

इन राज्यों के सरकारी स्कूलों में बच्चों को किया गया शिफ्ट

  • राज्य के शिक्षा विभाग के अनुसार शैक्षणिक वर्ष 2021-22 में गुजरात में 2.82 लाख छात्र निजी स्कूलों से सरकारी स्कूलों में स्थानांतरित हुए हैं।
  • दिल्ली में 1.58 लाख छात्र निजी स्कूलों से सरकारी स्कूलों में चले गए।
  • तेलंगाना में निजी स्कूलों के 1.25 लाख छात्र 2021-22 शैक्षणिक वर्ष के लिए राज्य के सरकारी स्कूलों में चले गए।
  • हरियाणा के निजी स्कूलों से दो लाख छात्र सरकारी स्कूलों में शिफ्ट हुए।
  • मध्य प्रदेश में 1,29,126 छात्रों ने अप्रैल से सितंबर 2021 के बीच स्कूल शिफ्ट किए।
  • पंजाब में 1,85,480 छात्र महामारी के दौरान निजी से सरकारी स्कूलों में शिफ्ट हुए।
  • महामारी के दौरान यूपी में प्राथमिक और उच्च प्राथमिक स्तरों पर सरकारी स्कूलों में नामांकन में लगभग 5% की वृद्धि हुई।

बच्चों की टीसी के लिए आ रहे पेरेंट्स

दिल्ली के एक स्कूल के एडमिशन डिपार्टमेंट ने बताया कि उन्होंने स्कूल की बची हुई फीस पर कुछ छूट दी है। हालांकि, इससे माता-पिता को कोई फायदा नहीं हुआ। वे केवल अपने बच्चों की टीसी के लिए आ रहे हैं।

दिल्ली में प्रोग्रेसिव प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल कौशिक ने कहा कि महामारी के कारण कई अभिभावकों ने अपनी नौकरी खो दी और यही कारण है कि माता-पिता अपने बच्चों को सरकारी स्कूलों में शिफ्ट कर रहे हैं।

स्कूल शिफ्ट के यह हैं कारण

कई माता-पिता सोचते हैं कि सरकारी स्कूलों में बच्चों को अच्छी शिक्षा मिलेगी और कुछ सुविधाएं भी। उदाहरण के तौर पर, हरियाणा और राजस्थान सरकार ने महामारी के दौरान मुफ्त टैबलेट और लैपटॉप के वितरण की घोषणा की थी।

Avinash Kumar Singh

A writer by passion | Journalist by profession Loves to explore new things and travel. I Book Lover, Passionate about my work, in love with my family, and dedicated to spreading light.

Recent Posts

Faridabad के DPSG School ने आयोजित किया DPSG Cup, 4000 खिलाड़ियों ने लिया हिस्सा

हरियाणा को खिलाड़ियों की भूमि कहा जाता है। देश में सबसे ज्यादा पदक हरियाणा के…

1 year ago

अगर देश को बचाना है तो भाजपा को वोट दें:  Faridabad भाजपा लोकसभा प्रत्याशी कृष्णपाल गुर्जर

आप सभी जानते ही हैं अब चुनाव का विगुल बज चुका है।  सभी पार्टियों ने…

1 year ago

Haryana के टैक्सी चालक के बेटे ने Clear किया UPSC Exam, पिता का सपना हुआ पूरा

भारत की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक यूपीएससी परीक्षा होती है। जिसमें लोगों को…

1 year ago

अब Haryana के इन रूटों पर वंदे भारत समेत कई ट्रेनें दौड़ेंगी 130 की स्पीड से, सफर होगा आसान

हरियाणा सरकार जनता के लिए हमेशा कुछ ना कुछ अच्छा करती रहती है। जिससे कि…

1 year ago